पुणेआरक्षण की मांग को लेकर मराठा समूहों द्वारा गुरुवार को बुलाए गए ‘महाराष्ट्र बंद’ के दौरान प्रदर्शनकारियों ने पुणे जिला कलेक्ट्रेट में तोड़फोड़ की। किसी भी अप्रिय घटना से बचने के लिए अधिकारियों ने एहतियात के सभी कदम उठाए और अफवाह रोकने के लिए जिले की सात तहसीलों में इंटरनेट सेवाएं स्थगित कर दीं। हड़ताल शुरू होते ही चार हजार से पांच हजार आंदोलनकारी गुरुवार सुबह कलेक्ट्रेट के बाहर इकट्ठा हो गए।कलेक्टर नवल किशोर राम ने कहा कि आंदोलन शांतिपूर्ण तरीके से शुरू हुआ। उन्होंने कहा, ‘कुछ समय के बाद कुछ प्रतिनिधि मेरे कार्यालय आए और ज्ञापन सौंपा… वे प्रशासन से खुश थे और सकारात्मक दिख रहे थे।’ हालांकि, समूह जैसे ही भवन के बाहर गया, कुछ सदस्य हिंसक हो गए। कलेक्टर ने कहा, ‘मेरी सूचना के मुताबिक, प्रशासनिक भवन के मुख्य द्वार और सुरक्षा केबिन के शीशे क्षतिग्रस्त कर दिए गए।’
पुणे जिला कलेक्ट्रेट में तोड़फोड़
सूत्रों के मुताबिक प्रदर्शनकारियों ने परिसर में बिजली के कुछ बल्ब भी तोड़ डाले। कुछ प्रदर्शनकारी कलेक्टर कार्यालय में दीवार फांद गए और अपनी मांगों के समर्थन में नारेबाजी की। सूत्रों ने कहा कि प्रदर्शनकारी चाहते थे कि कलेक्टर अपने कार्यालय के बाहर आएं और ज्ञापन स्वीकार करें और क्योंकि उन्होंने ऐसा नहीं किया इसलिए वे हिंसा पर उतारू हो गए। कलेक्टर ने कहा कि पिछले दो दिनों से वह मराठा क्रांति मोर्चा के संयोजकों के साथ समन्वय कर रहे थे और उनके साथ बैठक भी की।
वहीं दूसरी तरफ मुंबई मेट्रोपॉलिटन क्षेत्र को छोड़कर महाराष्ट्र के अधिकांश हिस्सों में गुरुवार को शांतिपूर्ण तरीके बंद जारी रहा। आयोजकों सकल मराठा समाज, मराठा क्रांति मोर्चा व अन्य संबंधित समूहों ने सभी समर्थकों से हिंसा मुक्त बंद और पुलिस के साथ सहयोग करने की अपील की है। मुंबई, ठाणे और नवी मुंबई में केवल सांकेतिक विरोध प्रदर्शन किए गए। पश्चिमी और मध्य रेलवे पर उपनगरीय ट्रेन सेवा सामान्य रूप से जारी रही।
कई जगह इंटरनेट और बस सेवाएं रहीं बंद
महाराष्ट्र राज्य सड़क परिवहन निगम (एमएसआरटीसी) ने व्यवधान से बचने के लिए राज्य के अधिकांश हिस्सों में अपनी सेवाओं को रद्द करने का फैसला किया। लातूर, सोलापुर, कोल्हापुर, पालघर और कई अन्य स्थानों पर कार्यकर्ताओं ने सड़क यातायात को अवरुद्ध कर दिया जबकि पुणे, अहमदनगर, वाशिम, धुले, बुलढाना, नांदेड़, अकोला, परभनी, जालना, हिंगोली, औरंगाबाद पूरी तरह से बंद रहा।
पुणे जिला कलेक्ट्रेट में तोड़फोड़
सूत्रों के मुताबिक प्रदर्शनकारियों ने परिसर में बिजली के कुछ बल्ब भी तोड़ डाले। कुछ प्रदर्शनकारी कलेक्टर कार्यालय में दीवार फांद गए और अपनी मांगों के समर्थन में नारेबाजी की। सूत्रों ने कहा कि प्रदर्शनकारी चाहते थे कि कलेक्टर अपने कार्यालय के बाहर आएं और ज्ञापन स्वीकार करें और क्योंकि उन्होंने ऐसा नहीं किया इसलिए वे हिंसा पर उतारू हो गए। कलेक्टर ने कहा कि पिछले दो दिनों से वह मराठा क्रांति मोर्चा के संयोजकों के साथ समन्वय कर रहे थे और उनके साथ बैठक भी की।
वहीं दूसरी तरफ मुंबई मेट्रोपॉलिटन क्षेत्र को छोड़कर महाराष्ट्र के अधिकांश हिस्सों में गुरुवार को शांतिपूर्ण तरीके बंद जारी रहा। आयोजकों सकल मराठा समाज, मराठा क्रांति मोर्चा व अन्य संबंधित समूहों ने सभी समर्थकों से हिंसा मुक्त बंद और पुलिस के साथ सहयोग करने की अपील की है। मुंबई, ठाणे और नवी मुंबई में केवल सांकेतिक विरोध प्रदर्शन किए गए। पश्चिमी और मध्य रेलवे पर उपनगरीय ट्रेन सेवा सामान्य रूप से जारी रही।
कई जगह इंटरनेट और बस सेवाएं रहीं बंद
महाराष्ट्र राज्य सड़क परिवहन निगम (एमएसआरटीसी) ने व्यवधान से बचने के लिए राज्य के अधिकांश हिस्सों में अपनी सेवाओं को रद्द करने का फैसला किया। लातूर, सोलापुर, कोल्हापुर, पालघर और कई अन्य स्थानों पर कार्यकर्ताओं ने सड़क यातायात को अवरुद्ध कर दिया जबकि पुणे, अहमदनगर, वाशिम, धुले, बुलढाना, नांदेड़, अकोला, परभनी, जालना, हिंगोली, औरंगाबाद पूरी तरह से बंद रहा।