पुणे-भारत में कोरोना वायरस की एक नहीं,कम से कम आधा दर्जन वैक्सीन उपलब्ध हो सकती ह््ैं। सरकार जहां देश में डेवलप हो रहे तीन टीकों से उम्मीद लगाए हुए ह््ैं। वहीं निजी कंपनियां अपने स्तर पर विदेशी फार्मा कंपनियों से डील कर रही ह््ैं। दुनिया के सबसे बड़े वैक्सीन निर्माता सीरम इंस्टिट्यूट ऑफ इंडिया तो पांच अलग-अलग कोरोना वैक्सीन की डोज तैयार कर रहा है। कंपनी का दावा है कि वह पांच वैक्सीन की 100 करोड़ डोज 2021-22 से पहले बना लेगी। कंपनी अगले साल की हर तिमाही में कोरोना का एक टीका लॉन्च करने की योजना बना रही है। दूसरी तरफ, भारत में बनी र्उेींरुळप को फेज 3 ट्रायल की मंजूरी मिल गई है। इसके अलावा, रूस की कोरोना वैक्सीन का भारत में 100 लोगों पर ट्रायल शुरू होने जा रहा है।
सीरम इंस्टिट्यूट के सीईओ अदार पूनावाला के अनुसार,कंपनी सबसे पहले ऑक्सफर्ड-अस्त्राजेनका की वैक्सीन कोविशील्ड को लॉन्च करने की तैयारी में है। देश में इसका लगभग 1,600 लोगों पर फेज 3 ट्रायल चल रहा है। पूनावाला ने कहा कि वे अभी हर महीने 2 से 3 करोड़ डोज बना रहे हैं और इसे 7 से 8 करोड़ तक बढ़ा सकते ह््ैं। उनके मुताबिक, वे अभी इसलिए कम वैक्सीन बना रहे हैं क्योंकि उनकी शेल्फ लाइफ कम होती है। वैक्सीन अप्रूवल में अभी कम से कम दो महीने का वक्त और लग सकता है,ऐसे में टीके खराब होने का डर है।
अरबों डोज की डील कर चुका सीरम इंस्टिट्यूट
दूसरी वैक्सीन सीरम इंस्टिट्यूट लाइफ साइंसेज ने बनाई है,इसका संभावित नाम है। इसे नोवावैक्स के साथ मिलकर डेवलप किया गया है। इसका फेज 2 ट्रायल ऑस्ट्रेलिया में चल रहा है। नोवावैक्स ने 2021 में 100 करोड़ डोज तैयार करने की डील की है। इसके अलावा कंपनी अपनी ही दो और वैक्सीन डोज भी तैयार की जा रही ह््ैं।नोवावैक्स,अस्त्राजेनेका के अलावा दुनिया की कई बड़ी फार्मा कंपनियों से डील कर रखी है।