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पलट गई बाजी : अजित पवार ने भाजपा का साथ छोडा, फडणवीस ने सत्ता छोडी

Ajit Pawar Devendra Fadnavis Resignation | Maharashtra Politics [Updates]; Ajit Pawar, Devendra Fadnavis Maharashtra CM, Congress-Shiv Sena-NCP Latest News Updates

मुंबई. पांच साल महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री रहे देवेंद्र फडणवीस का दूसरा कार्यकाल चार दिन भी नहीं चला। फडणवीस ने अजित पवार के भरोसे पर आनन-फानन केंद्र से राष्ट्रपति शासन हटवाकर शनिवार सुबह मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी। अजित को उप-मुख्यमंत्री बनाया था। गुपचुप सरकार बनाने के बाद महज तीन दिन में अजित पवार को एहसास हो गया कि सत्ता की चाभी चाचा शरद पवार के पास ही है। मंगलवार सुबह सुप्रीम कोर्ट ने फ्लोर टेस्ट पर फैसला सुनाया और दोपहर आते-आते अजित पवार ने गुपचुप इस्तीफा दे दिया। घंटेभर बाद ही फडणवीस ने भी इस्तीफे का ऐलान कर दिया। इस तरह लोकसभा चुनाव में पूर्ण बहुमत से जीत के बाद भाजपा के हाथ से पहला बड़ा राज्य निकलता दिखा। भाजपा के विधायक कालिदास कोलंबकर प्रोटेम स्पीकर बनाए गए और उन्होंने बुधवार सुबह 8 बजे विधानसभा का पहला सत्र बुलाया है, जिसमें विधायकों को शपथ दिलवाई जाएगी।

सुबह 10:45 बजे : सुप्रीम कोर्ट का फैसला
फडणवीस और अजित पवार के गुपचुप शपथ ग्रहण के खिलाफ शिवसेना, कांग्रेस और राकांपा ने शनिवार को सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की थी। इस पर मंगलवार सुबह सुप्रीम कोर्ट ने फैसला सुनाया और बुधवार शाम फ्लोर टेस्ट कराने का आदेश दिया। फ्लोर टेस्ट अोपन बैलट के जरिए करवाने के निर्देश दिए गए। शिवसेना, कांग्रेस और राकांपा भी यही चाहती थी, क्योंकि उन्हें क्रॉस वोटिंग का डर था।

सुबह 11:00 बजे : अजित पवार की गोपनीय मुलाकात
बताया जाता है कि सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने के बाद मुंबई में अजित पवार ने चाचा शरद पवार और उनकी बेटी सुप्रिया सुले से मुलाकात की। इस मुलाकात में अजित पवार को भाजपा का साथ छोड़ने के लिए मनाया गया।

दोपहर 1 बजे : दिल्ली में मोदी-शाह-नड्‌डा की बैठक
नई दिल्ली में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृह मंत्री अमित शाह और जेपी नड्‌डा के बीच बैठक हुई। इस बैठक का एजेंडा सामने नहीं आया, लेकिन यह कहा गया कि सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने के बाद यह बैठक तय की गई थी।

2:30 बजे : अजित ने इस्तीफा दिया
अजित पवार ने इस्तीफा दिया। यह इस्तीफा उन्होंने राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी को नहीं, बल्कि मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस को सौंपा। इसी वक्त खबर आई कि थोड़ी देर में फडणवीस प्रेस कॉन्फ्रेंस करेंगे।

3:30 बजे : मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने इस्तीफे की घोषणा कर दी
फडणवीस ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि जब आज सुप्रीम कोर्ट का फैसला आया और जब बुधवार को बहुमत साबित होना है, तब अजित पवार ने हमसे मुलाकात की और कहा कि कुछ कारणों से वे इस गठबंधन में नहीं रह सकते। उन्होंने अपना इस्तीफा मुझे सौंपा। उनका इस्तीफा आने के बाद हमारे पास भी बहुमत नहीं है। भाजपा ने पहले दिन से एक भूमिका ली थी कि हम किसी विधायक को नहीं तोड़ेंगे। हम हॉर्स ट्रेंडिंग नहीं करेंगे। इसलिए मैं इस्तीफा दे रहा हूं। शिवसेना-राकांपा-कांग्रेस की सरकार अपने ही बोझ तले दब जाएगी। शिवसेना के नेता सोनिया गांधी के नाम की कसम खा रहे थे। हमें आश्चर्य हुआ कि सत्ता के लिए वे कितने लाचार हैं। जिन्होंने हम पर हॉर्स ट्रेंडिंग का आरोप लगाया, वे तो पूरा अस्तबल खरीदकर बैठे हैं।

फडणवीस ने कहा- नंबर गेम में शिवसेना मोलभाव कर रही थी
फडणवीस ने कहा कहा- जनता ने हमारे गठबंधन को बहुमत दिया था। हमें सबसे बड़े दल के नाते 105 सीटें मिलीं। यह जनादेश भाजपा के लिए था। हमने 70% सीटें जीतीं। शिवसेना ने सिर्फ अपनी 40% सीटें जीतीं। गठबंधन को जनादेश था ही, लेकिन भाजपा के लिए यह बड़ा जनादेश था। इसका सम्मान करते हुए हमने सरकार बनाने की कोशिश की। दुर्भाग्य यह कि जो बात कभी तय नहीं हुई थी, यानी मुख्यमंत्री पद शिवसेना को देने का प्रस्ताव, उसकी बात होती रही। नंबर गेम में अपनी बारगेनिंग पावर बढ़ सकती है, यह सोचकर उन लोगों ने मोलभाव शुरू किया। हमने कहा था कि जो तय हुआ है, वही देंगे। जो तय नहीं हुआ था, वह नहीं दे सकते। हमसे चर्चा करने की बजाय वे राकांपा और कांग्रेस से चर्चा कर रहे थे। जो लोग मातोश्री के बाहर से नहीं गुजरते, वे उस भवन की सीढ़ियां चढ़ रहे थे।
 
भाजपा विधायक कालिदास कोलंबकर प्रोटेम स्पीकर बने

फडणवीस के इस्तीफे के एक घंटे बाद ही तय हो गया कि भाजपा विधायक कालिदास कोलंबकर प्रोटेम स्पीकर की शपथ ली। इससे पहले कांग्रेस ने बाला साहेब थोराट को प्रोटेम स्पीकर बनाने की मांग की थी। कांग्रेस ने कहा था कि वे विधानसभा में सबसे वरिष्ठ नेता हैं। थोराट 8 बार के विधायक हैं। थोराट को कांग्रेस विधायक दल का नेता भी चुना गया है। राकांपा ने जयंत पाटिल को विधायक दल का नेता चुना है।

शरद पवार बोले- अजित को व्हिप जारी करने का अधिकार नहीं
राकांपा प्रमुख शरद पवार ने कहा- यह गलत सूचना फैलाई जा रही है कि अजित राकांपा के विधायक दल के नेता हैं, जो सभी राकांपा विधायकों को शक्ति परीक्षण में भाजपा को वोट करने के लिए व्हिप जारी करेंगे। मैंने कई संविधान विशेषज्ञों से विचार किया है। मैं इस निष्कर्ष पर पहुंचा हूं कि अजित को पद से हटा दिया है। उनके पास विधायकों को व्हिप जारी करने का कोई कानूनी अधिकार नहीं है। अवैध तरीके से सत्ता पर कब्जा करने वालों को अब हटना होगा।”

राउत ने कहा- उद्धव ठाकरे 5 साल के लिए मुख्यमंत्री होंगे
शिवसेना नेता संजय राउत ने कहा- अजित दादा ने इस्तीफा दे दिया है। वे हमारे साथ हैं। उद्धव ठाकरे पांच साल के लिए महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री होंगे। होटल में विधायकों की परेड को आप शक्ति प्रदर्शन कहते हैं, उसे हम शक्ति प्रदर्शन नहीं कहते हैं। हम देश की जनता को दिखाना चाहते हैं, महाराष्ट्र की जनता को दिखाना चाहते हैं, राष्ट्रपति भवन और राजभवन को दिखाना चाहते हैं और जिसने चोरी-छिपे मुख्यमंत्री की शपथ ली उसे भी दिखाना चाहते हैं।

एक्सपर्ट व्यू: विश्वास मत तो साबित करना ही होगा, लेकिन जरूरी नहीं यह कल हो 
संविधान विशेषज्ञ सुभाष कश्यप ने कहा, “जो फ्लोर टेस्ट कल होने वाला था, हो सकता है कि वह आगे बढ़ जाए। राज्यपाल अब जिस भी व्यक्ति को सरकार बनाने के लिए आमंत्रित करेंगे, उसे सदन में विश्वास मत तो साबित करना होगा। लेकिन, यह कल ही हो यह जरूरी नहीं है। यह भी हो सकता है कि मुख्यमंत्री की नियुक्ति कल हो और वे कल ही विश्वास प्रस्ताव लाएं। या फिर उन्हें जो समय दिया जाए, उसमें वे विश्वास मत साबित करें। हो सकता है कि कुछ और दिन मुख्यमंत्री की नियुक्ति न हो। जब राज्यपाल यह फैसला ले लें कि सदन में किसी को बहुमत मिल सकता है तो वे उसे सरकार बनाने के लिए कहें और मुख्यमंत्री विश्वास प्रस्ताव लाएं। अगर राज्यपाल को लगता है कि किसी को भी बहुमत मिलने की आशा नहीं है तो वे फिर से राष्ट्रपति को अपनी रिपोर्ट देंगे और फिर से राष्ट्रपति शासन लागू हो सकता है।”

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