सैफई- धरतीपुत्र मुलायम सिंह यादव को आज राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया गया। शाम 4 बजे नेताजी के पार्थिव शरीर को बेटे अखिलेश यादव ने मुखाग्नि दी। इसी के साथ नेताजी पंचतत्व में विलीन हो गए। राजकीय,धार्मिक,उद्योग,फिल्मी क्षेत्र से कई जाने मानी हस्तियों ने सैफई पहुंच कर श्रद्धांजलि अर्पित की।
जिस सैफई गांव से अपने पहलवानी,मास्टरी और सियासत का सफर शुरु किया था आज उसी सैफई में आखिरी यात्रा समाप्त की। अंतिम दर्शन के लिए जनसैलाब उमड़ पड़ा। सैफइर्र् के किसी गांव में कल से चुल्हा नहीं जला। परिजन रातभर नेताजी के चरणों में बैठे रहे। जिस मेला ग्राऊंड में कभी सैफई महोत्सव की धूम रहती थी। देशभर के बडी हस्तियां फिल्मी सितारे,उद्योगपति,राजनेताओंका जमघट लगता था आज उसी मेला मैदान में गमगीन,नम आंखों से नेताजी को विदाई दी गई। देर रात बेटे अब्दुला के साथ आजम खान सैफई पहुंचे,अपने दोस्त मुलायम को आखिरी बार देख आजम रो पडे। अखिलेश खुद आजम का हाथ पकड करके नेताजी के पास ले गए और अंतिम दर्शन करवाए। सैर्फ के बडे बुजर्ग के रोती बिलखती जुबान पर केवल एक ही शब्द था..सैफई ने खोया अपना लाल…मुलायम के बिना समाजवाद के पन्ने अधूरे हैं। सभी बेहाल,चले गए हमार लल्ला..नेताजी अमर रहे के गगनभेदी नारे हवाओं में घंटों गूंजते रहे,इंद्रदेवता भी बूंद बूंद पानी गिराकर नेताजी को अपनी श्रद्धासुमन अर्पित करते देखे गए।
ये मान्यवरों ने नेताजी को श्रद्धांजलि देने सैफई पहुंचे
देश के रक्षामंत्री राजनाथ सिंह,यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ,महाराष्ट्र से विधायक अबू आजमी,लोकसभा अध्यक्ष ओम बिडला,महाराष्ट्र से भाजपा नेता किरिट सोमैया,बाबा रामदेव,राकेश टिकैत,बिहार के उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव,राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत,अभिनेता अभिषेक बच्चन,जया बच्चन,राकांपा सुप्रिमो शरद पवार,सुप्रिया सुले,कमलनाथ,छत्तीसगड के मुख्यमंत्री भूपेंश बघेल,उद्योगपति अनिल अंबानी,झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन,कांग्रेस के मलिकार्जुन खडगे,प्रमोद तिवारी,आंध्रप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री चंद्रबाबु नायडू,तेलंगाना के मुख्यमंत्री चंद्रशेखर राव, यूपी सरकार के डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक, केशव प्रसाद मौर्य, कैबिनेट मंत्री राकेश सचान, जितिन प्रसाद, संजय निषाद और संजय सिंह,वरुण गांधी आदि मान्यवरों ने नेताजी को अंतिम विदाई और श्रद्धासुमन अर्पित करने पहुंचे।
सैफई में गूंजते रहे नेताजी अमर रहें के नारे
हवा में देर तक नेताजी अमर रहें, अमर रहें के नारे देर तक गूंजते रहे। मुलायम सिंह यादव की कोठी पर शव पहुंचा तो परिवार के सभी सदस्य दिन भर उनके चरणों के पास बैठे रहे। देर रात जब आजम खान बेटे संग पहुंचे तो अखिलेश यादव, डिंपल और धर्मेंद यादव समेत परिवार के सभी सदस्यों की भावनाओं का ज्वार फट पड़ा, जिसे उन्होंने दिन भर साधे रखा था। अब घड़ी नेताजी के अंतिम संस्कार की है और उससे पहले हर कोई उन्हें अपनी श्रद्धांजलि देना चाहता है। सैफई में भावनाएं उफान पर हैं और बादल भी शायद धरती पुत्र के लिए गम को देखते हुए टिप-टिप बरस रहे हैं।
रातोंरात अंतिम संस्कार के लिए बना चबूतरा
मुलायम सिंह यादव के अंतिम संस्कार के लिए तैयारियां किस कदर की गई है, इसे ऐसे भी समझ सकते हैं कि रातोंरात मेला ग्राउंड पर एक चबूतरा बना दिया गया। बारिश के बीच ही रात से ही सैकड़ों लोग लगे रहे और एक ऊंचा सा चबूतरा बना दिया गया, जिसमें अंतिम संस्कार किया जा सके। इसी ग्राउंड में कभी सैफई महोत्सव का मेला लगता था और आज वहीं पर धरतीपुत्र की विदाई का मेला लगा गया है।